भारत के ग्रामीण इलाकों में, जहाँ मिट्टी कृषि की जीवन रेखा है, वहां चुपचाप एक संकट अपना पैर पसार रहा है – इस बहुमूल्य प्राकृतिक संसाधन "मिट्टी" का निरंतर क्षरण हो रहा है। मिट्टी को सही मायने में "आंतरिक जीवन की आत्मा" के रूप में देखा गया है। इसलिए, मिट्टी की सेहत की संरक्षण कर, अपनी अगली पीढ़ी को बेहतर गुणवत्ता वाली मिट्टी सौंपना हमारा राष्ट्रीय कर्तव्य है। पर्याप्त जैविक खाद के उपयोग और जैविक पदार्थों की कमी; और असंतुलित पोषक तत्व प्रयोग की पद्धतियाँ मिट्टी की सेहत में गिरावट आने के लिए उत्‍तरदायी प्राथमिक कारण हैं। समय के साथ उर्वरक के प्रभाव में कमी, फसल के लिए अधिक सिंचाई की आवश्यकता, और केंचुओं की घटती उपस्थिति जैसे संकेत मिट्टी के रासायनिक, भौतिक और जैविक स्वास्थ्य की गिरावट को दर्शाते हैं।

वहीं दूसरी ओर, हमारे राष्ट्र की खाद्य और पोषण सुरक्षा को पूरा करने के लिए गुणवत्ता वाले भोजन की मांग लगातार बढ़ रही है। यह मांग एक स्वस्थ और सजीव मिट्टी पर निर्भर करती है, जो पोषक तत्व प्रदान करे और कृषि में सतत् वृद्धि सुनिश्चित करे। घटते मिट्टी के स्वास्थ्य का प्रभाव गुणवत्ता वाली फसल उत्पादन पर पड़ रहा है और किसानों की आय कम हो रही है। हर बीज और हर उभरती जड़ एक स्वस्थ फसल के वादे को थामे हुए है; और इंटीग्रेटेड प्लांट न्यूट्रिएंट मैनेजमेंट (IPNM) यानि की एकीकृत पौध पोषक प्रबंधन इस वादे को पूरा करने की एकमात्र स्थायी रणनीति है। इस रणनीति में 'जैविक खाद' और 'जैव उर्वरक' बहुत महत्वपूर्ण घटक हैं, जो मिट्टी के स्वास्थ्य को सुधारते हैं और उसमें जड़ों के अच्छे स्वास्थ्य को सुनिश्चित करते हैं।

जैविक कार्बन मिट्टी के स्वास्थ्य सुधार का आधार है — यह मिट्टी की संरचना को स्थिर करता है, जल धारण और संचारण गुणों को सुधारता है, मिट्टी के pH को तटस्थ क्षेत्र के करीब स्थिर करता है, मिट्टी के तापमान को अत्यधिक विचलन से बचाता है, लाभकारी सूक्ष्मजीवों की संख्या बढ़ाता है और पौधों के पोषक तत्वों की उपलब्धता को बढ़ाता है। इसलिए, गुणवत्ता वाली जैविक खाद की उपलब्धता एक महत्वपूर्ण मुद्दा है। जैव उर्वरक पोषक तत्वों की गति को बढ़ाकर उन्हें स्वस्थ जड़ों के पास लाने में मदद करते हैं।

‘‘विज्ञान के माध्यम से किसानों की सेवा’’ के हमारे मिशन के अनुरूप, रैलिस स्वस्थ मिट्टी में स्वस्थ जड़ों का विकास सुनिश्चित करने के लिए गर्व से दो बहुत शक्तिशाली समाधान पेश कर रहा है। जियोग्रीन ® हमारे देश की एकमात्र पेटेंट प्राप्‍त और वैज्ञानिक रूप से संवर्धित जैविक खाद है, जिससे आपकी मिट्टी की सेहत में सुधार सुनिश्चित होता है और हमारी अनुशंसाओं के अनुसार लंबे समय तक निरंतर उपयोग पर भी मिट्टी की सेहत में सुधार जारी रहता है। रैलीगोल्‍ड ® एक विशिष्ट रूप से तैयार किया गया मायकोराइज़ा युक्‍त जैव-उर्वरक है जिससे पौधों के लिए वहाँ भी मिट्टी से पानी और पोषक तत्वों की अधिक उपलब्धता सुनिश्चित होती है जहाँ पोषण का अवशोषण करने वाली जड़ें पहुँच भी नहीं पाती हैं। यह जड़ की सेहत में सुधार लाने के लिए वृद्धि गुणक से समृद्ध है।

अपने खेत में हर नई फसल की शुरुआत में इन दोनों का संयुक्त रूप से प्रयोग कर, खेती-बाड़ी को सशक्त और समृद्ध बनाएँ।

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जियोग्रीन

पेटेंट प्राप्त जैविक खाद जो मिट्टी का संवर्धन करती है, पीएच संतुलित करती है, जैविक कार्बन का सबसे अच्छा स्रोत है।

रैलीगोल्ड

जैव उर्वरक जड़ों की ताकत, सूक्ष्मजीवों की गतिविधि और बढ़वार को बढ़ावा देता है।

 
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